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फूल और कांटे क्वेश्चन आंसर,/ phool aur kaante kavita ke question answer, / प्राची भाषा सेतु फूल और कांटे क्वेश्चन आंसर

क्लास-8, हिंदी ( भाषा सेतु ), अध्याय =' फूल और कांटे ' के सभी प्रश्नों का उत्तर



सारांश -

 फूल और कांटे के माध्यम से कवि ने क्रमशः सज्जन और दुर्जन के सरज स्वभाव की व्यवस्था की है, सज्जन और दुर्जन एक ही कुल में जन्म लेकर समान परिस्थितियों में पर पल बढ़करभी विपरीत आचरण के होते हैं एक अपने स्वाभाव से सबका मन मोह लेता है तो दूसरा किसी का वस्त्र फाडता  है तो किसी उंगलियों में चुभता है,

 व्यक्ति को बड़प्पन देने के लिए केवल कूल के बड़ाई ही पर्याप्त नहीं है अपितु व्यक्ति के गुण गरिमा होनी चाहिए सरल से सरल भाषा में भी उपदेश आत्मक साहित्य लिखना, हरीऔद्य  की उल्लेखनीय विशेषता रही है,

प्रस्तुत कविता का उद्देश्य बच्चों को सज्जन और दुर्जन में अंतर को समझाना है




प्रश्नों का उत्तर :-


 प्रश्न 1:- फूल और कांटे के जन्म एवं पालन पोषण में क्या समानताएं हैं?

उत्तर :- फूल और कांटे एक ही जगह पर जन्म लेते हैं स्वयं उन्हें साथ साथ ही वर्षा, चांद की चमकीली रोशनी उन पर एक समान पड़ती है.




 प्रश्न 2:- कांटा लोगों के साथ कैसा व्यवहार करता है?

उत्तर :-  कांटा लोगों के साथ बहुत बुरा व्यवहार करता है वह लोगों की उंगलियों फाड़ देता है तो किसी के कपड़े फाड़ देता है, वह प्यारे तितलियाँ के पंख कतर देता है तथा भंवरों के सावले  शरीर क़ो बेध देता है.




प्रश्न 3:- फूल का तितलियाँ और  अन्य लोगों के साथ कैसा व्यवहार है?

उत्तर :- फूल का तितलियाँ और अन्य लोगों के साथ अच्छा व्यवहार है वह तितलिया को अपने गोद में लेती है, भौरो  को अपना मीठा रस पिलाती है और वह अपने सुगंध और निराले रंग से सबके मन को मोह लेती है.




प्रश्न 4:-  मनुष्य श्रेष्ठ होता है?

उत्तर :-  अपने गुणों और स्वभाव के आधार पर मनुष्य श्रेष्ठ होता है.




प्रश्न 5:- लोगों का कांटे और फूल में प्रति व्यवहार में क्या अंतर होता है?

उत्तर :- लोग काटे क़ो  कभी पसंद नहीं करते क्योंकि कांटे का व्यवहार किसी को अच्छा नहीं लगता है. एक ही कुल  में जन्म लेने पर भी अपने व्यवहार के चलते वह सबकी नजरों मे अलग लगता है और इसी के कारण सब कांटे से दूर रहते हैं जबकि फूल सबका मित्र है, क्योंकि उसका व्यवहार कांटे के विपरीत है, वह सबको खुशीप्रदान करता है वह अपने रंगों से सबके मन को मोह लेता है यही कारण है कि फूल सबको अच्छा लगता है.





प्रश्न 6:-  फूल और कांटे के व्यवहार में अंतर से कवि  हमें क्या समझाना चाहता है?

उत्तर :-  फूल और कांटे के व्यवहार में अंतर से कवि हमें बताना चाह रहा है कि जैसे फूल और कांटे एक ही कुल में जन्म लेते हैं बाद भी उनमेकितना अंतर है ठीक उसी तरह आप भी वैसे ही होते हैं  जो व्यक्ति लोगों से बुरा व्यवहार करता है और लोगों का नकारात्मक करता है उसे लोग कभी पसंद नहीं करते, जबकि वह व्यक्ति जो लोगों को खुशिया  बाटता है वह व्यक्ति सबका प्यारा हो जाता है.





प्रश्न 7:-  प्रकृति ने फूलों के साथ कांटे क्यों बनाए हैं?

उत्तर :- प्रकृति ने फूलों के साथ कांटे इसीलिए बनाया है ताकि हर मनुष्य सज्जन और दुर्जन में अंतर समझ सके इसे देख हम समझ सके कि हमे  फूल की तरह सब के साथ अच्छा व्यवहार करना चाहिए ना की कांटे की तरह,





प्रश्न 8:-  अपने वाक्य में फूल और कांटे कविता का आशय बताएं |

उत्तर :- फूल और कांटे से कवि का आशय है कि हमें फूल की तरह सज्जनता और सिष्टा का व्यवहार करना चाहिए जो सब को कष्ट और दुख पहुंचाता ना हो.





Read more:-


अध्याय -1.... जयगान

अध्याय -2.... झूठ का सच

अध्याय-3.... संस्कृति क्या हैं

अध्याय -4... संसार दर्पण

अध्याय 5 -- माँ की ममता

अध्याय 6--फूल और कांटे

अध्याय 7--- गणेश शंकर विधार्थी

अध्याय 8 --- कलिंग विजय

अध्याय 9--- सूखे सुमन से

अध्याय 10 --- हरित क्रांति 

अध्याय -11---लाल अंगारों की मुस्कान

अध्याय -12---पूर्वी सीमांत असम।

अध्याय -13----शक्ति और क्षमा

 

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