प्रश्न 1. मीठी वाणी बोलने से औरों को सुख और अपने तन को शीतलता कैसे प्राप्त होती है
उत्तर :- अपने तन को शीतलता-कबीर दास कहते हैं कि सबसे मीठी वाणी बोलनी चाहिए। इससे अन्य सुनने
वाले को बड़ा सुख मिलता है और अपने शरीर को भी शीतलता पहुंचती है। शीतलता से तात्पर्य
है-शान्ति व आनन्द। मधुर वाणी से अपने हृदय को शान्ति मिलती है और आनन्द की अनुभूति होती है।
औरों को सुख-मीठी वाणी सुनने वाले के हृदय को भी सुख पहुंचाती है। हमें सुनने वाले के हित
में तथा अनुकूल बोलना चाहिए, तभी वह बात उसको सुख पहुंचाएगी। सुनने वाले के खुश हो जाने
पर बोलने वाले को सहज खुशी होती है। इसलिए सदैव ऐसी बात कहनी चाहिए जिससे सुनने वाला
खुश हो जाए।
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